Chepter 06
पृथ्वी के प्रमुख स्थलरूप
पृथ्वी पर अनेक प्रकार के स्थलरूप होते हैं। इनमें से मुख्य हैं: पर्वत, पठार और मैदान। विभिन्न स्थलरूपों के निर्माण में दो प्रक्रियाओं का हाथ रहता है। इन प्रक्रियाओं को आंतरिक प्रक्रिया तथा वाह्य प्रक्रिया कहते हैं।
आंतरिक प्रक्रिया: पृथ्वी के अंदर लगातार गति होती रहती है। इस गति के फलस्वरूप आंतरिक प्रक्रिया होती है। आंतरिक प्रक्रिया के कारण पृथ्वी की सतह कहीं पर ऊँची हो जाती है तो कहीं पर धंस जाती है।
बाह्य प्रक्रिया: बाह्य प्रक्रिया के कारण पृथ्वी की सतह बनती या टूटती रहती है।
अपरदन: पृथ्वी की सतह के घिस जाने को अपरदन कहते हैं।
निक्षेपण: पृथ्वी की सतह पर पदार्थों के जमा होने की क्रिया को निक्षेपण कहते हैं। निक्षेपण से सतह का निर्माण होता है। निक्षेपण के मुख्य दूत हैं पवन और जल।
पर्वत
पृथ्वी की सतह की प्राकृतिक ऊँचाई को पर्वत कहते हैं। पर्वत का शिखर छोटा तथा आधार चौड़ा होता है। पर्वत अपने आस पास के क्षेत्र से अत्यधिक ऊँचा होता है। हम जानते हैं की ऊँचाई बढ़ने के साथ तापमान में कमी आती है। इसलिए ऊँचे पहाड़ अक्सर बर्फ से ढ़के होते हैं।
हिमानी: पर्वत पर बर्फ की नदियाँ होती हैं। ऐसी जमी हुई नदी को हिमानी कहते हैं।
पर्वत पर जीवन: पर्वत पर कठोर जलवायु तथा खड़ी ढ़ाल होती है। इसलिए पर्वत की जमीन खेती के लिए उपयुक्त नहीं होती है। इसलिए पर्वतीय क्षेत्रों की जनसंख्या विरल होती है।
पर्वतमाला: जब कई पर्वत एक रेखा में होते हैं, तो इसे पर्वतमाला या पर्वत श्रृंखला कहते हैं। कई पर्वतमालाएँ तो सैंकड़ों किलोमीटर तक फैली होती हैं।
पर्वतों के प्रकार
पर्वत तीन प्रकार के होते हैं: वलित पर्वत, भ्रंशोत्थ पर्वत और ज्वालामुखीय पर्वत।
वलित पर्वत: जब किसी टेक्टॉनिक प्लेट पर दो तरफ से दबाव पड़ता है, तो यह प्लेट मुड़ जाती है। प्लेट का कुछ भाग ऊपर उठकर पर्वत बन जाता है। जो भाग नीचे रह जाता है, वहाँ घाटी बन जाती है। हिमालय, एंडीज और आल्प्स वलित पर्वत के उदाहरण हैं। ये सभी इस दुनिया के नवीनतम पर्वत हैं और इन पर्वतमालाओं में दुनिया की ऊँची ऊँची चोटियाँ हैं। अरावली भी वलित पर्वत है। लेकिन अपरदन के कारण यह श्रृंखला घिस चुकी है।
भ्रंशोत्थ पर्वत: जब टेक्टॉनिक प्लेट दबाव के कारण टूट जाता है तो इसका कुछ भाग ऊपर उठकर पर्वत बनाता है। ऊपर उठे हुए भाग को उत्खंड (हॉर्स्ट) तथा नीचे धंसे हुए भाग को भ्रंश (ग्राबेन) कहते हैं। यूरोप की राइन घाटी और वोस्जेस पर्वत इस प्रकार के पर्वत के उदाहरण हैं।
पर्वतों का महत्व:
पर्वत हमारे लिए पानी के महत्वपूर्ण स्रोत होते हैं। कई प्रमुख नदियाँ पर्वतों पर स्थित हिमानियों से निकलती हैं। पर्वत से मिलने वाला पानी सिंचाई और पनबिजली के लिए इस्तेमाल होता है। नदी घाटियाँ तथा वेदिकाएँ कृषि के लिए उपयुक्त होती हैं। पर्वतों पर विभिन्न प्रकार की वनस्पतियाँ तथा जीव जंतु पाए जाते हैं। पर्वतों से कई महत्वपूर्ण उत्पाद मिलते हैं, जैसे कि लकड़ी, जड़ी-बूटी, शहद, कत्था, आदि। पर्वतीय क्षेत्र सैलानियों को बहुत पसंद आते हैं। यहाँ पर कई रोमांचक खेल खेले जा सकते हैं, जैसे कि रिवर राफ़्टिंग, पैराग्लाइडिंग, हैंग ग्लाइडिंग, स्कीइंग, आदि।
पठार
पठार एक ऊँचा और समतल भूभाग होता है। पठार की ऊँचाई अपने आसपास के क्षेत्र से अधिक होती है। एक पठार में एक या अधिक दिशा में तीखी ढ़ाल हो सकती है। पठार नया या पुराना हो सकता है। पठार की ऊँचाई कुछ सौ मीटर से लेकर कई हजार मीटर तक होती है। उदाहरण: भारत में स्थित दक्कन का पठार दुनिया के प्राचीनतम पठारों में से एक है। पठार के अन्य उदाहरण हैं: पूर्वी अफ्रिकी पठार (केन्या, तंजानिया और उगांडा), ऑस्ट्रेलिया का पश्चिमी पठार। तिब्बत का पठार दुनिया का सबसे ऊँचा पठार है और इसकी ऊँचाई 4,000 से 6,000 मीटर है।
पठार का महत्व:
पठार में प्रचुर खनिज संपदा होती है। दुनिया की अधिकतर खानें पठारी क्षेत्रों में स्थित हैं। भारत के अधिकतर खनन इलाके छोटानागपुर पठार में स्थित हैं, जो झारखंड, उड़ीसा और छत्तीसगढ़ राज्यों में आता है। अफ्रिकी पठार अपनी सोने और हीरे की खानों के लिए मशहूर है। पठारी क्षेत्रों में कई जलप्रपात होते हैं। उदाहरण: हुंडरू जलप्रपात (छोटानागपुर) और जोंग जलप्रपात (कर्णाटक)। पठारी क्षेत्रों में काली मृदा पाई जाती जो कृषि के लिए उपयुक्त होती है । पठारी क्षेत्रों में कई पर्यटन स्थल होते हैं।
मैदान
मैदान एक समतल भूभाग होता है जिसकी ऊँचाई समुद्र तल से 200 मीटर से अधिक नहीं होती है। कुछ मैदान बिलकुल समतल होते हैं जबकि कुछ मैदानों में थोड़े बहुत उतार चढ़ाव होते हैं।
मैदान का निर्माण: मैदानों का निर्माण अक्सर नदियों और उनकी सहायक नदियों द्वारा होता है। जब कोई नदी पहाड़ों से उतरती है तो यह पहाड़ का अपरदन करते हुए आती है। नदी अपने साथ अपरदन के मलवे को लाती है और इसे घाटी में जमा कर देती है। मलवे के जमाव के कारण मैदान का निर्माण होता है।
मैदान का महत्व:
मैदान अत्यधिक उपजाऊ होते हैं और कृषि के लिए सबसे उत्तम होते हैं। मैदानों में घर बनाना या सड़कें बिछाना या रेल लाइन बिछाना बहुत आसान होता है। इसलिए मानव निवास के लिए मैदान सबसे अधिक अनुकूल होते हैं। दुनिया के अधिकतम घनी आबादी वाले क्षेत्र मैदानी भागों में स्थित हैं। सिंधु-गंगा का मैदान दुनिया के सबसे घनी आबादी वाले क्षेत्रों में गिना जाता है।
स्थलरूप और लोग
आदमी लगभग हर प्रकार के भूभाग पर रहते हैं। पर्वतीय क्षेत्रों में जीवन कठिन है, इसलिए पर्वतीय क्षेत्रों में विरल आबादी होती है। पठारों का जीवन कुछ आसान होता है, लेकिन मैदानों का जीवन बहुत ही आसान होता है। इसलिए मैदानों की आबादी सघन होती है। हर तरह के भूभाग में प्राकृतिक विपदाओं का संकट बना रहता है। भूकंप, तूफान और बाढ़ किसी भी क्षेत्र में आ सकते हैं। ज्वालामुखीय क्षेत्रों में ज्वालामुखी के फटने का खतरा रहता है। लेकिन लोगों को प्राकृतिक विपदाओं के साथ रहना सीखना पड़ता है। यदि सही सावधानियाँ बरती जाएं तो प्राकृतिक विपदाओं से जान माल की रक्षा की जा सकती है।
निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर संक्षेपसंक्षेप में दीजिए।
प्रश्न 1: पृथ्वी के प्रमुख स्थलरूप कौन-कौन से है?
उत्तर: पृथ्वी के प्रमुख स्थलरूप पर्वत, पठार और मैदान हैं।
प्रश्न 2: पर्वत और पठार में क्या अंतर है?
उत्तर:
पर्वत | पठार |
---|---|
पर्वतों का शिखर छोटा होता है | पठार का उपरी भाग मेज के समान सपाट होता है। |
पहाड़ों की ऊँचाई कई हजार मीटर तक होती है। | पठारो की ऊँचाई प्रायः कुछ सौ मीटर से लेकर कई हजार मीटर तक होती है। |
पर्वतों का शिखर बर्फ से ढ़का होता है। | पठार का ऊपरी भाग बर्फ से नहीं ढ़का होता है। |
पहाड़ों से वन संपदा और जड़ी-बूटियाँ प्राप्त होती हैं। | पठार से विभिन्न तरह के खनिज पदार्थ प्राप्त होते हैं। |
प्रश्न 3: पर्वतों के विभिन्न प्रकार कौन-कौन से हैं?
उत्तर: पर्वतों के तीन प्रकार होते हैं, वलित, भ्रंशोत्थ और ज्वालामुखी पर्वत
प्रश्न 4: मनुष्यों के लिए पर्वत किस प्रकार उपयोगी हैं?
उत्तर: मनुष्यों के लिए पर्वत बहुत उपयोगी है। पर्वत जल का संग्रहागार होता है। बहुत सारी प्रमुख नदियाँ पर्वतों में स्थित हिमानियो से निकलती है। पर्वतों के जल का उपयोग सिंचाई और पनबिजली के उत्पादन के लिए किया जाता है। नदी घाटियाँ और वेदिकाएँ कृषि के लिए बहुत उपयोगी होती है। पहाड़ों में भिन्न भिन्न प्रकार की वनस्पतियां और जीव-जंतु पाए जाते हैं। पहाड़ी वनों से हमें विभिन्न तरह की चीजें जैसे- जड़ी-बूटी के पौधे, शहद, गोंद, चारा और लकड़ी प्राप्त होते हैं। पहाड़ पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण केंद्र है। यहाँ विभिन्न प्रकार के खेल जैसे- पैराग्लाइडिंग, हैंग ग्लाइडिंग, रिवर राफ्टिंग और स्कीइंग आदि खेले जाते हैं।
प्रश्न 5: मैदानों का निर्माण किस प्रकार होता है?
उत्तर: मैदान का निर्माण अधिकांशत: नदियों और उसकी सहायक नदियों द्वारा होता है। नदियाँ पहाड़ों की ढाल पर नीचे की ओर बहती है और उन्हें अपरदित कर देती है। इन अपरदित पदार्थों जैसे- बालू, पत्थर और सिल्ट को वे अपने साथ आगे की ओर ले जाती और उन्हें घाटियों में निक्षेपित कर देती है। इन्हीं निक्षेपों से मैदानों का निर्माण होता है।
प्रश्न 6: नदियों द्वारा निर्मित मैदान सघन जनसंख्या वाले होते हैं, क्यों?
उत्तर: प्रायः मैदानी भाग काफी उपजाऊ होते हैं। इसलिए यहाँ खेती करना आसान होता है। समतल भूमि के कारण परिवहन के साधनों का और घर का निर्माण करना भी आसान होता है। उपर्युक्त परिस्थितियों के कारण मानव के बसने के लिए ये सबसे सही जगह है। इसलिए मैदानी क्षेत्र विश्व के सबसे अधिक जनसंख्या वाले क्षेत्र होते हैं।
प्रश्न 7: पर्वतों में जनसंख्या कम होती है, क्यों?
उत्तर: पहाड़ी क्षेत्रों की जलवायु कठोर होती है। पहाड़ों की भूमि काफी खड़ी होती है। जिसके कारण खेती करने में बहुत ज्यादा कठिनाई होती है। इन सभी कारणों से पर्वतों में बहुत कम जनसंख्या होती है।
सही उत्तर चिन्हित कीजिए।
(i) पर्वत पठारों से भिन्न होते हैं-
(क) ऊँचाई
(ख) ढाल
(ग) अभिमुखता
(ii) हिमानी कहाँ पाई जाती है?
(क) पर्वतों में
(ख) मैदानों में
(ग) पठारो में
(iii) दक्कन पठार कहाँ स्थित है?
(क) केन्या
(ख) आस्ट्रेलिया
(ग) भारत
(iv) यांगत्से नदी कहाँ बहती है?
(क) दक्षिण अमेरिका
(ख) आस्ट्रेलिया
(ग) चीन
(v) यूरोप की एक महत्वपूर्ण पर्वत श्रृंखला कौन सी है?
(क) एंडीज
(ख) आल्प्स
(ग) रॉकीज
उत्तर: (i) (क) ऊँचाई, (ii) (क) पर्वतों में, (iii) (ग) भारत, (iv) (ग) चीन, (v) (ख) आल्प्स
खाली स्थान भरें।
- समतल भूमि वाले विस्तृत क्षेत्र को --------- कहते हैं।
- हिमालय और आल्प्स --------- पर्वतों के उदाहरण हैं।
- -------- क्षेत्रो में खनिजों की प्रचुरता होती है।
- -------- पर्वतों का एक क्रम है।
- -------- क्षेत्र कृषि के लिए सबसे अधिक उत्पादक क्षेत्र होता है।
उत्तर: (1) मैदान, (2) वलित, (3) पठारी, (4) पर्वत श्रृंखला, (5) मैदानी
Extra Questions Answers
प्रश्न 1: अपरदन किसे कहते हैं?
उत्तर: जब पृथ्वी की सतह टूटकर घिस जाती है तो उसे अपरदन कहते हैं।
प्रश्न 2: निक्षेपण किसे कहते हैं?
उत्तर: अपरदन की क्रिया के द्वारा जो सतह घिस जाती है, उसका फिर से निर्माण होने की प्रक्रिया को निक्षेपण कहते हैं।
प्रश्न 3: तीन पर्वत श्रृंखलाओं के नाम लिखो।
उत्तर: हिमालय, आल्प्स और एंडीज पर्वत
प्रश्न 4: विश्व की सबसे पुरानी वलित पर्वत श्रृंखला कौन है?
उत्तर: विश्व की सबसे पुरानी वलित पर्वत श्रृंखला भारत की अरावली पर्वत श्रृंखला है।
प्रश्न 5: ज्वालामुखी क्रियाओं के कारण बने दो पर्वतों के नाम बताओ।
उत्तर: अफ्रीका का माउंट किलिमंजारो और जापान का फ्यूजियामा पर्वत ज्वालामुखी क्रियाओं के कारण बने हैं।
प्रश्न 6: विश्व का सबसे उँचा पठार कौन है? इसकी ऊँचाई कितनी है?
उत्तर: विश्व का सबसे उँचा पठार तिब्बत का पठार है। जिसकी ऊँचाई समुद्र तल से 4000 से 6000 मीटर तक है।
प्रश्न 7: पठारों से कौन कौन से खनिज प्राप्त होते हैं?
उत्तर: पठारो से लोहा, कोयला, सोना, हीरा, मैंगनीज आदि तरह के खनिज प्राप्त होते हैं।
प्रश्न 8: भारत के दो प्रमुख जलप्रपातों के नाम लिखो।
उत्तर: भारत के दो प्रमुख जलप्रपात छोटानागपुर का हुंडरू का जलप्रपात और कर्नाटक का जोग जलप्रपात है।
प्रश्न 9: भारत में सबसे अधिक जनसंख्या वाला क्षेत्र कौन सा है?
उत्तर: गंगा का मैदानी क्षेत्र
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